शोधार्थी तरुण कुमार और निशांत भूषण की सरकारी ब्रेन्नन कॉलेज, तल्लशेरी में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी में सहभागिता
दिनांक 31 जुलाई 2023, को सरकारी ब्रेन्नन कॉलेज, तल्लशेरी के 'स्नातकोत्तर हिन्दी विभाग एवं शोध केंद्र' में एक दिवसीय राष्ट्रीय संगोष्ठी का आयोजन किया गया। जिसके अंतर्गत 'प्रेमचंद का साहित्य और मानवाधिकार' विषय पर केन्द्रित प्रपत्र प्रस्तुति का कार्यक्रम हुआ। इस राष्ट्रीय संगोष्ठी में केरल केन्द्रीय विश्वविद्यालय, हिन्दी विभाग की ओर से शोधार्थी (तरुण कुमार और निशांत भूषण) ने अपने-अपने विषय को लेकर प्रपत्र-प्रस्तुति दी।
सर्वप्रथम शोधार्थी तरुण ने 'प्रेमचंद की कहानियाँ और मानवाधिकार' विषय को लेकर अपना विचार प्रस्तुत किया। जिसमें उन्होनें प्रेमचंद की कहानियों में आदर्शवाद से लेकर यथार्थवाद तक की यात्रा में आए मानव के विभिन्न स्वरूपों पर नए तथ्य प्रस्तुत किये , साथ ही उनकी कहानियों में सामाजिक बाध्यता के कारण आत्मघात करते पात्रों पर प्रकाश डालते हुए मानव सभ्यता और उसके सार्थक जीवन का मूल्यांकन किया।
अगले प्रस्तुतकर्ता निशांत भूषण ने 'रंगभूमि उपन्यास में मानवीय मूल्य' को ध्यान रखकर पर अपना प्रपत्र-प्रस्तुत किया और कहा कि आज भी जल जंगल जमीन की लड़ाई में राज सत्ता, समाज सत्ता, और धर्म सत्ता के गठजोड़ येन-केन-प्रकारेण सूरदास जैसे गरीब किन्तु उत्कृष्ट चरित्र वाले इन्सानों की संपत्ति भरण करते आ रहे हैं। इसके अंतर्गत उपन्यास के विभिन्न कथा चरित्रों के माध्यम से मानवीय मूल्यों को प्रासंगिक संदर्भों के साथ जोड़ते हुए सोदाहरण प्रस्तुत किया।
इस तरह दोनों शोधार्थी ने प्रेमचंद के संदर्भ में मानवतावाद को लेकर प्रमुख सवालों की तरफ इशारा किया और उनके साहित्य की प्रासंगिकता को आज के संदर्भ में सार्थक सिद्ध करने का प्रयास किया।
प्रस्तुति
तरुण कुमार
शोधार्थी, हिन्दी विभाग केरल केन्द्रीय विश्वविद्यालय
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